हिमाचल समय, शिमला, 16 जून।
भाजपा पूर्व प्रदेश अध्यक्ष एवं सांसद सुरेश कश्यप ने कहा सिरमौर जिले के पांवटा साहिब के माजरा गांव में एक युवती के अपहरण के विरोध में शांतिपूर्ण धरना दे रहे

भाजपा प्रदेश अध्यक्ष डॉ. राजीव बिंदल, विधायक सुखराम चौधरी सहित 50 लोगों पर कांग्रेस सरकार के इशारे पर प्रशासन द्वारा भारतीय न्याय संहिता की धारा 163 के तहत मामला दर्ज करना अत्यंत निंदनीय है।
यह घटना प्रदेश में कांग्रेस सरकार के दौरान बढ़ते गुंडाराज और प्रशासनिक दमन का स्पष्ट प्रमाण है। माजरा गांव में 4 जून को 19 वर्षीय मोहसिन द्वारा युवती को भगाने की घटना
और इसके बाद सामाजिक टकराव के दौरान हुए पथराव में तीन पुलिस कर्मचारियों के घायल होने की घटना बेहद चिंताजनक है। इसके बावजूद, शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे भाजपा नेताओं
और हिंदू संगठनों के लोगों पर प्रशासन द्वारा केस दर्ज करना कांग्रेस सरकार के दबाव में लिया गया एक पक्षपातपूर्ण कदम है। यह लोकतांत्रिक अधिकारों का हनन है और प्रदेश में कानून-व्यवस्था की बदहाल स्थिति को दर्शाता है।

कांग्रेस सरकार के शासन में गुंडाराज अपने चरम पर है। अपराधियों को खुली छूट दी जा रही है, जबकि शांतिपूर्ण प्रदर्शन करने वालों पर दमनकारी कार्रवाई की जा रही है। हम इस घटना की कड़ी निंदा करते हैं और मांग करते हैं
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कि भाजपा नेताओं और प्रदर्शनकारियों पर दर्ज झूठे मामले तुरंत वापस लिए जाएं। साथ ही, युवती के अपहरण के मामले में दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए।
प्रदेश की जनता इस गुंडाराज और दमनकारी नीति को बर्दाश्त नहीं करेगी। हम कांग्रेस सरकार को चेतावनी देते हैं कि वह अपने तानाशाही रवैये को तुरंत बंद करे और जनता की सुरक्षा सुनिश्चित करे।
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